गौतमबुद्धनगर में भू माफिया के मंसूबे चरम पर, कहां है योगी का बुलडोजर ?

राजेश बैरागी ग्रेटर नोएडा। प्राधिकरण के अधिसूचित क्षेत्र में सरकारी भूमि पर अवैध रूप से कॉलोनी बसाने वाले भूमाफियाओं के लिए उत्तर प्रदेश की योगी सरकार का क्या नजरिया है? निस्संदेह ऐसे लोगों को गंभीर धाराओं में निरुद्ध कर जेल में डाले जाने के दावे किए जाते हैं। परंतु ग्रेटर नोएडा के नॉलेज पार्क 5 स्थित गांव तुस्याना का जंगल भूमाफियाओं के लिए वरदान साबित हो रहा है। यहां इस प्रकार की किसी कार्रवाई का भय भूमाफियाओं को नहीं है। ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के अधिसूचित और अधिग्रहित गांव तुस्याना के खाली पड़े जंगल में भूमाफियाओं का खेल जारी है।लंबी लंबी दीवारें बनाकर सरकारी और अधिग्रहित भूमि पर कॉलोनी बसाई जा रही हैं। यहां प्राधिकरण, टेक्नोलॉजी पार्क लिमिटेड (टीपीएल) और राज्य सरकार की सैकड़ों बीघा भूमि है।भूमाफिया और टीपीएल मिलकर विवादित और सरकारी भूमि पर महीनों से यहां कॉलोनी काटने में जुटे हुए हैं। पिछले दिनों जिला प्रशासन और पुलिस ने अवैध रूप से बनाई गई दीवारें ढहा दी थीं परन्तु भूमाफियाओं पर इस कार्रवाई का कोई असर नहीं हुआ। तुस्याना गांव के ग्रामीण बताते हैं कि इस खेल में तहसील, प्राधिकरण और पुलिस विभाग के लोग शामिल हैं। इसलिए दिखावे की कार्रवाई की जाती है और खेल जारी रहता है।

राजेश बैरागी
ग्रेटर नोएडा। प्राधिकरण के अधिसूचित क्षेत्र में सरकारी भूमि पर अवैध रूप से कॉलोनी बसाने वाले भूमाफियाओं के लिए उत्तर प्रदेश की योगी सरकार का क्या नजरिया है? निस्संदेह ऐसे लोगों को गंभीर धाराओं में निरुद्ध कर जेल में डाले जाने के दावे किए जाते हैं। परंतु ग्रेटर नोएडा के नॉलेज पार्क 5 स्थित गांव तुस्याना का जंगल भूमाफियाओं के लिए वरदान साबित हो रहा है। यहां इस प्रकार की किसी कार्रवाई का भय भूमाफियाओं को नहीं है।
ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के अधिसूचित और अधिग्रहित गांव तुस्याना के खाली पड़े जंगल में भूमाफियाओं का खेल जारी है।लंबी लंबी दीवारें बनाकर सरकारी और अधिग्रहित भूमि पर कॉलोनी बसाई जा रही हैं। यहां प्राधिकरण, टेक्नोलॉजी पार्क लिमिटेड (टीपीएल) और राज्य सरकार की सैकड़ों बीघा भूमि है।भूमाफिया और टीपीएल मिलकर विवादित और सरकारी भूमि पर महीनों से यहां कॉलोनी काटने में जुटे हुए हैं। पिछले दिनों जिला प्रशासन और पुलिस ने अवैध रूप से बनाई गई दीवारें ढहा दी थीं परन्तु भूमाफियाओं पर इस कार्रवाई का कोई असर नहीं हुआ। तुस्याना गांव के ग्रामीण बताते हैं कि इस खेल में तहसील, प्राधिकरण और पुलिस विभाग के लोग शामिल हैं। इसलिए दिखावे की कार्रवाई की जाती है और खेल जारी रहता है।”